The present age in which there is hardly any house in which some person, in some form or the other, is not suffering in mental, physical or financial form. Keeping these things in mind, while contemplating the health of the people, in these articles, I will explain to you how you can keep yourself healthy with a little understanding and your body, mind And can prevent loss of money. If my effort keeps you healthy then I will understand that my life was successful-
सोमवार, 23 मई 2022
प्रोटीन की कमी से होती हैं ये समस्या-These problems are caused by lack of protein
प्रोटीन की कमी से भारत में लगभग 80% लोग ग्रस्त है एक सामान्य व्यक्ति को हर रोज खुद के वजन के अनुसार लगभग 1 ग्राम प्रति किलो प्रोटीन जरूरी होता है। यदि 50 किलो वजन है तो 50 ग्राम प्रोटीन रोजाना चाहिए। लेकिन इतना प्रोटीन शरीर को नहीं मिल पाता जिसके कारण कई प्रकार की शारीरिक परेशानी होने लगती है। प्रोटीन की कमी के कारण कमजोरी और थकान महसूस होती रहती है। प्रोटीन मांसपेशियों के लिए भी जरुरी है तथा शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली के लिए भी तथा हार्मोन का बनना भी इन पर निर्भर होता है। हीमोग्लोबिन बनने में भी इसकी विशेष भूमिका होती है। विशेषज्ञों के अनुसार पर्याप्त मात्रा में प्रोटीन लेने से मोटापा , डायबिटीज और ज्यादा कोलेस्ट्रॉल की समस्या भी काबू में रह सकती है।
हमारे शरीर को पर्याप्त मात्रा में प्रोटीन मिल रहे हैं या नहीं यह नीचे दी गई समस्याओं और संकेतों से पता चल सकता है। *प्रोटीन की कमी के लक्षण* मीठा खाने की तीव्र इच्छा मिठाई , चॉकलेट , टॉफी , पेस्ट्री या चिप्स आदि खाने के तीव्र इच्छा होती है तो इसका मतलब आपके रक्त का शुगर लेवल स्थिर नहीं है। यह प्रोटीन की कमी के कारण हो सकता है। हालाँकि इस तरह की इच्छा के दूसरे कारण भी हो सकते है पर प्रोटीन की कमी और खून में शुगर का लेवल आपस में सम्बंध अवश्य रखते है। भोजन में प्रोटीन की भरपूर मात्रा जरूर बढ़ा कर देखें। *सिरदर्द* सिरदर्द के कई कारण होते है। प्रोटीन की कमी भी सिरदर्द का कारण हो सकती है। प्रोटीन की कमी से होने वाले सिरदर्द का कारण एनीमिया या रक्त में शुगर की कमी हो सकता है। दोनों ही स्थिति में प्रोटीन युक्त खाना बढ़ाने से लाभ मिल सकता है। *बेहोशी* प्रोटीन की कमी से रक्त में शुगर कम होने के कारण कभी कभी व्यक्ति बेहोश भी हो सकता है। पर्याप्त प्रोटीन के नही मिलने पर शरीर मांसपेशियों के टिशू को तोड़कर पोषक तत्व खींचने लगता है। यह भी बेहोशी का एक कारण हो सकता है। यदि बहुत थकान रहती है और बेहोश भी हो जाते हों तो प्रोटीन पर ध्यान जरूर देना चाहिए। *बालों का गिरना* यदि आपको लगे की आपके बाल या पतले होते जा रहे हैं या नहाते वक्त या कंघी करते समय झड़ रहे है तो हो सकता है की आपको प्रोटीन की कमी हो रही हो। बाल मुख्यतः एक विशेष प्रकार के प्रोटीन केराटिन से बने होते है। जब शरीर में प्रोटीन कम पहुंचता है तो शरीर दूसरे जरुरी काम जैसे प्रतिरक्षा प्रणाली के लिए पहले काम में लिया जाता है। इसलिए प्रोटीन की कमी का पहला संकेत बालों के गिरने से मिलता है। हालाँकि बाल गिरने के दूसरे कारण जैसे आयरन की कमी आदि भी हो सकते है। *चोट सामान्य से अधिक समय में ठीक होती हो* जब चोट लगती है तो शरीर को नए टिशू बनाने के लिए अधिक मात्रा में प्रोटीन की आवश्यकता होती है। यदि घाव के भरने में सामान्य से अधिक समय लगता महसूस होता हो तो यह प्रोटीन की कमी दर्शाता है। चाहे कट गया हो , खरोंच आई हो या नील पड़ी हो या मोच आ गई हो या ज्यादा गंभीर चोट हो। इनका देर से ठीक होना का कारण प्रोटीन की कमी हो सकता है। *डिप्रेशन , चिन्ता* प्रोटीन से एमिनो एसिड बनते है। एमिनो एसिड से कई महत्त्वपूर्ण तत्व का निर्माण होता है जिसमे न्यूरो ट्रांसमीटर भी शामिल है। ये न्यूरोट्रांसमीटर दिमाग के लिए तथा तंत्रिका तंत्र के लिए आवश्यक होते है जो मनस्थिति को भी प्रभावित करते है। यदि आपको उचित मात्रा में प्रोटीन नहीं मिलते तो मन को खुश रखने वाले तत्व जैसे सेरोटोनिन की कमी हो जाती है जिसके कारण डिप्रेशन , दुखी मन , चिंता आदि हावी हो जाते है। यदि आपका मन दुखी दुखी रहता है तो देखें कही आप प्रोटीन की कमी के शिकार तो नहीं। *नाख़ून पर लकीरें* प्रोटीन की कमी के कारण हाथ पैरों के नाख़ून पर लकीरें पड़ सकती है। अतः यदि नाख़ून पर लकीरें दिखाई दें तो सावधान हो जाइये और देखिये आप कितना प्रोटीन ले रहे हैं। *नींद नहीं आना* प्रोटीन की कमी के कारण सेरोटोनिन की कमी हो सकती है। इसकी कमी होने से नींद नहीं आने की समस्या पैदा हो सकती है। इसलिए यदि नींद बहुत मुश्किल से आती हो तो प्रोटीन युक्त आहार बढ़ा कर देखें। आपकी समस्या का समाधान हो सकता है। *प्रतिरोधक क्षमता कम हो गई हो* प्रोटीन प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत बनाये रखने में मदद करते है। त्वचा तथा श्लेष्मा झिल्ली बाहरी संक्रमण को रोकने में प्रोटीन का इस्तेमाल करते है। प्रोटीन की मदद से ही शरीर में ऐंटीबॉडी तथा अन्य कई प्रकार के तत्व बनते है जो बाहरी आक्रमण से लड़कर उनसे हमारे शरीर की रक्षा करते है। अतः यदि आपको बार बार इन्फेक्शन या सर्दी जुकाम आदि हो जाते है तो हो सकता है कि आप प्रोटीन कम मात्रा में ले रहे हो। प्रतिरोधक क्षमता में कमी के अन्य कारण जैसे विटामिन D या जिंक की कमी भी हो सकते है। *पैरों में सूजन* प्रोटीन की कमी के कारण सूजन आ सकती है, खासकर पैरों में । क्योकि शरीर में खून का जाना और खून का वापस लौटना प्रोटीन की मदद से ही सही प्रकार से हो पाता है । यदि प्रोटीन की कमी होती है तो टिशू में गया हुआ खून पूरी तरह वापस नहीं लौट पाता इस कारण से सूजन आ जाती है। अतः टखने में या पैरों में सूजन आती हो तो प्रोटीन की कमी हो सकती है। *प्रोटीन की कमी कैसे दूर करें* भोजन में अधिक प्रोटीन वाली चीजें शामिल करें। दूध , पनीर , दही , दाल , राजमा , सोयाबीन , मसूर , फलियाँ , बादाम , पिस्ता , काजू आदि मेवे , मूंगफली , मक्का , गेहूँ आदि अंकुरित अनाज तथा सब्जियाँ आदि पर्याप्त मात्रा में अपने भोजन में शामिल करें। *एक पुरुष को लगभग 56 ग्राम और महिला को 46 ग्राम प्रोटीन की आवश्यकता होती है।
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